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एससीएसएस के बारे में

 

 

स्कूल ऑफ़ कंप्यूटर एंड सिस्टम्स साइंसेज ने १९७० के दशक के आखिरी सालों में कंप्यूटर विज्ञान के क्षेत्र में शैक्षणिक कार्यक्रमों को शामिल करने की नींव रखी। यह इस क्षेत्र में उच्च शिक्षा एवं शोध के लिए भारत में स्थापित सबसे शुरूआती केंद्रों में से एक था। बढ़ती हुई जिज्ञासा को शांत करने एवं भारत में प्रतिभाशाली सॉफ्टवेयर विशेषज्ञों की आवश्यकता को पूरी करने के लिए हमारा विद्यालय अपनी स्थापना के समय से एक मार्गदर्शक का काम कर रहा है।  
विद्यालय के विद्यार्थियों ने अच्छी नैतिक प्रकृति के माध्यम से हमेशा ही चुनौतीपूर्ण कार्यों को स्वीकार किया है। विद्यार्थियों की नैतिक प्रकृति एवं स्वभाव को आकार देने में हमारे विश्वविद्यालय के मुख्य प्रोफेसरों की भी अहम भूमिका है, जिन्होंने आतंरिक सुविधाओं एवं नियमित सेमिनारों के माध्यम से सूचना प्रौद्योगिकी के तेज़ी से बदलते हुए क्षेत्र के रोज़ाना की गतिविधियों से विद्यार्थियों का परिचय करवाया है। यहां की अनुभवी फैकल्टी आपको हमेशा ही चुनौतीपूर्ण कार्यों से प्रेरणा लेने के प्रति प्रभावित करती है एवं खास व्याख्यानों तथा विद्यार्थियों से परस्परानुबन्धन करके तकनीक की परिवर्तनशील प्रकृति से आपका सामना करवाती है। परस्पर बातचीत एवं सहयोग का यह सम्बन्ध तथा शिक्षण का तरीका उन तकनीकों की नींव में हैं, जिन्होंने देश को काफी बड़ी संख्या में प्रतिभाशाली अधिकृत सॉफ्टवेयर कर्मचारी प्रदान किये हैं जो हमारी संस्था का नाम रोशन कर रहे हैं।
आज जबकि कई संस्थाएं कंप्यूटर विज्ञान के क्षेत्र में एक समान शिक्षा प्रदान कर रही हैं, एससी एवं एसएस का पलड़ा अन्य संस्थाओं पर अपने भूतपूर्व विद्यार्थियों की वजह से भारी है, जो सेमिनार के माध्यम से निरंतर विद्यालय में आते हैं तथा विद्यार्थियों में उस भावना का विकास करते हैं, जिसके माध्यम से वे कंप्यूटर विज्ञान के कार्यक्रम की शुरुआत से ही विद्यालय को गर्वित करने के लिए तथा नयी तकनीकों में खुद को निपुण बनाने के लिए प्रेरित हो सकें।  एससी एवं एसएस का नाम आज सर्वश्रेष्ठ संस्थाओं में शामिल है तथा यह निरंतर रूप से उस रोचकता को प्रतिबिंबित करती है, जो इसके विद्यार्थियों एवं कर्मचारियों को अन्य संस्थाओं से अलग करता है।  
एससी एवं एसएस का कोर्स पाठ्यक्रम कंप्यूटर विज्ञान की सम्पूर्ण मूलभूत प्रवृत्ति को ध्यान में रखते हुए इस तरह निर्मित किया गया है कि यह विद्यार्थी की प्रतिभा को उसके चुने हुए क्षेत्र में. चाहे वह शोध एवं विकास का ही क्षेत्र क्यों ना हो, ऊर्जा देने एवं बढ़ाने का कार्य करती है।क्योंकि इतिहास खुद ही अपना बखान करता है, भारतीय एवं बहुराष्ट्रीय कंपनियों में काम करने वाले हमारे भूतपूर्व विद्यार्थियों को उनके बेहतरीन प्रदर्शन के लिए सम्मानित किया जा चुका है, एवं वे कई बार अन्य संस्थाओं के अपने साथी कर्मियों को पीछे छोड़ चुके हैं। कोर्स की संरचना को निरंतर इस प्रकार नवीनीकृत किया जा रहा है कि वह तकनीकी की वर्तमान मांग के साथ तालमेल बैठा सके। 
अपनी स्थापना के समय से एससी एवं एसएस अपने वृहत परिवार के लाभ के लिए विश्वविद्यालय में अंतर्विषयक अध्ययन को बढ़ावा देने के लिए भी कोर्सों का निर्माण एवं वितरण कर रहा है।